Hua Hai Paida Shafi-E-Alam
हुआ है पैदा शफ़ी-ए-आलम
कहाँ से आवाज़ आ रही है
गिरोह में लाया के गड़रियों को
यह शिरीन को, यह शिरीन सुना रही है
इधर वो तारा चमक रहा है
उधर वो चरनी दमक रही है
चमक चमक कर, दमक दमक कर
हर एक के दिल को लुभा रही है
वो प्यारा मुखड़ा, जो खोवे दुखड़ा
वो…